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काम कर गए राकेश टिकैत के आंसू, गाजीपुर बार्डर फिर हुआ गुलजार

किसान आंदोलन आज नयी करवट ले रहा है। किसान सम्मान को समर्पित रही भारतीय किसान यूनियन के झंडाबरदार दो भाई सरकार से टकराने को लेकर सड़क पर उतरे हैं। मुजफ्फरनगर किसान आंदोलन में भूमिका निभाने को तैयार है।

काम कर गए राकेश टिकैत के आंसू, गाजीपुर बार्डर फिर हुआ गुलजार
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मुज़फ्फरनगर। किसान आंदोलन अब नयी करवट ले चुका है। भाकियू अध्यक्ष नरेश टिकैत की आज महापंंचायत को लेकर हाई अलर्ट घोषित किया गया है, तो वहीं गाजीपुर बार्डर पर राकेश टिकैत के आंंसुओं ने सिमटते इस आंदोलन को बचाने में नया मोड़ ला दिया है। धरना स्थल पर किसानों का सैैैैलाब उमड़ पड़ा है। दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल ने वहां पानी का इंतजाम किया है।

भारतीय किसान यूनियन के अध्यक्ष नरेश टिकैत ने पश्चिमी उत्तर प्रदेश के किसानों से फिर गाजीपुर बॉर्डर पहुंचने का आह्वान किया है,उनके आह्वान के बाद पश्चिमी उत्तर प्रदेश के तमाम जिलों से बड़ी संख्या में किसान गाजीपुर बॉर्डर पर पहुंचने लगे जो आधी रात के बाद भी लगातार जारी है। राकेश टिकैत के आह्वान पर बिजनौर और मुजफ्फरनगर से किसानों के नए समूह रात में ही गाजीपुर बॉर्डर पहुंच गए। इस तरह शाम तक लगभग खाली हो चुका धरना स्थल रातों-रात फिर से गुलजार हो गया।

वहां पहुंचे तमाम किसानों औऱ उनके परिवारों के जत्थे में नया जोश देखने को मिला। इस भीषण ठंड में प्रदर्शनकारियों में बड़ी संख्या महिलाएं एवं बच्चे भी मौजूद हैं। इसी दौरान भारतीय यूनियन किसान के नेता राकेश टिकैत से पूछा गया कि अब आपकी आगे की क्या योजना है तो वे बोले, 'सम्मान के साथ विदाई चाहते हैं हम"। पूछा गया कि क्या आपके पास अब भी कोई प्रस्ताव है? तो जवाब में राकेश टिकैत ने कहा कि हम सरकार से बातचीत करेंगे और समाधान का रास्ता निकालेंगे। उन्होंने बताया कि कि मेरे पास मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ का भी संदेश आया था, पर ये मामला केंद्र का है। हालांकि हम उनसे भी इस बाबत बातचीत करेंगे क्योंकि अभी रास्ते बंद नहीं हुए हैं।

भाकियू अध्यक्ष नरेश टिकैत ने रात एक बजे ट्वीट करके कहा 'पुलिस रोके, सरकार रोके या कोई और... न रुकना है और न झुकना है और न टूटना है। बाबा टिकैत का एक-एक सिपाही दिल्ली की ओर बढ़ रहा है। नई सुबह होगी, नया सूरज निकलेगा।' चौधरी महेंद्र सिंह टिकैत के बेटे और मेरे छोटे भाई राकेश टिकैत के आंसू व्यर्थ नहीं जाएंगे। हरियाणा के गांव-गांव से किसान भाई ग़ाज़ीपुर बॉर्डर की तरफ चल पड़े हैं, सुबह तक पहुंच जाएंगे। सुबह महापंचायत होगी और अब हम इस आंदोलन को निर्णायक स्थिति तक पहुंचा कर ही दम लेंगे।

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