यूरोप की यात्रा का रास्ता खुला, ईयू के सात देशों और स्विट्जरलैंड ने दी कोविशील्ड को मंजूरी
यूरोपीय संघ के रुख से नाराज भारत ने चेतावनी दी है कि अगर वह भारतीय टीकों को मान्यता नहीं देता तो जवाबी कार्रवाई में भारत यूरोप से आने वाले यात्रियों के लिए 14 दिन का क्वारंटीन अनिवार्य कर देगा।
बेल्जियम। कोविशील्ड को लेकर विवाद के बाद यूरोप जाने की चाहत रखने वाले भारतीयों के लिए रास्ता खुल गया है। यूरोपीय संघ (ईयू) के सात देशों और स्विट्जरलैंड ने भारत की कोरोना वैक्सीन कोविशील्ड को मान्यता दे दी है।
भारतीय वैक्सीन कोविशील्ड लगवाने वालों को यूरोपीय संघ की ओर से ग्रीन पास न देने पर पर चल रहे संकट का अंत हो गया है। यूरोपीय संघ की ओर से भारतीय वैक्सीन कोविशील्ड को मंजूरी नहीं दी गई थी, जिससे इस वैक्सीन को लगवाने वालों को ग्रीन पास नहीं मिल रहा था। इस मामले को भारत सरकार ने बेहद गंभीरता से लिया। यूरोपीय संघ के रुख से नाराज भारत ने चेतावनी दी है कि अगर वह भारतीय टीकों को मान्यता नहीं देता तो जवाबी कार्रवाई में भारत यूरोप से आने वाले यात्रियों के लिए 14 दिन का क्वारंटीन अनिवार्य कर देगा। इसके बाद यूरोपीय संघ की डिजिटल कोविड प्रमाणपत्र योजना या ग्रीन पास योजना गुरुवार से प्रभाव में आ गई। इसके तहत कोविड-19 महामारी के दौरान स्वतंत्र आवाजाही की अनुमति होगी। इस रूपरेखा के तहत उन लोगों को ईयू के अंदर यात्रा पाबंदियों से छूट होगी, जिन्होंने यूरोपीय चिकित्सा एजेंसी (ईएमए) द्वारा अधिकृत टीके लगवाए हैं। अलग-अलग सदस्य राष्ट्रों को उन टीकों को स्वीकार करने की भी स्वतंत्रता है, जिन्हें राष्ट्रीय स्तर पर या विश्व स्वास्थ्य संगठन द्वारा अधिकृत किया गया है।