एक माह से गायब डॉ. अतुल को सीएमओ की अंतिम चेतावनी
नगरपालिका से हटाये जाने के बाद भी पीएचसी पर नहीं दी योगदान आख्या, सीएमओ ने जताई नाराजगी, नहीं मिलेगा वेतन
मुजफ्फरनगर। नगरपालिका परिषद् में नगर स्वास्थ्य अधिकारी पद से हटाये गये डॉ. अतुल कुमार अपने मूल विभाग से करीब एक माह से लगातार गायब चल रहे हैं। सीएमओ द्वारा तबादला आदेश का पालन नहीं करने और अपनी मूल तैनाती पर योगदान आख्या नहीं देने के कारण कड़ी नाराजगी जताते हुए डॉ. अतुल को अंतिम चेतावनी जारी करते हुए तत्काल पीएचसी पीनना पर चार्ज लेने के निर्देश दिए हैं। ऐसा नहीं करने पर उनको विभाग से वेतन जारी नहीं करने के साथ ही वरिष्ठ अधिकारियों के आदेशों की अवमानना करने में कर्मचारी सेवा नियमावली के अन्तर्गत कार्यवाही करने की चेतावनी भी दी गई है।
डॉ. अतुल कुमार नगरपालिका परिषद् में नगर स्वास्थ्य अधिकारी के पद पर अतिरिक्त दायित्व का निर्वहन कर रहे थे, जबकि उनकी मूल तैनाती सीएमओ के अधीन स्वास्थ्य केन्द्र पीनना पर थी। 26 सितम्बर की रात में उनकी पत्नी ने जिलाधिकारी उमेश मिश्रा को फोन कर शिकायत की थी कि उनके बेटे की तबियत खराब है और ऐसे में भी उनके पति को पालिका से अवकाश स्वीकृत नहीं किया जा रहा है। डीएम के आदेश के बाद पालिका चेयरपर्सन मीनाक्षी स्वरूप ने 27 सितम्बर से ही नगर स्वास्थ्य अधिकारी डॉ. अतुल कुमार को अवकाश स्वीकृत कर भेज दिया था और उनके स्थान पर चार्ज चीफ सेनेट्री इंस्पेक्टर योगेश गोलियान को दे दिया गया। वहीं सीएमओ डॉ. महावीर सिंह फौजदार ने एक अक्टूबर को डॉ. अतुल का तबादला नगरपालिका में निरस्त करते हुए उनको अपनी मूल तैनाती पीएचसी पीनना पर तत्काल चार्ज ग्रहण करने के निर्देश दिये थे। 18 अक्टूबर को उनके द्वारा एसीएमओ डा. अशोक कुमार को पालिका में नगर स्वास्थ्य अधिकारी के पद पर अतिरिक्त कार्यभार ग्रहण करने के लिए आदेश जारी किये। 21 अक्टूबर को डॉ. अशोक कुमार ने पालिका में अपनी योगदान आख्या प्रस्तुत कर दी थी, लेकिन इसी बीच अचानक ही डॉ. अशोक ने अपने विपरीत स्वास्थ्य को कारण बताते हुए सीएमओ को पत्र लिखकर पालिका में नगर स्वास्थ्य अधिकारी के पद पर कार्य करने से इंकार कर दिया।
इसके बाद संभावना बनने लगी थी कि पालिका में डॉ. अतुल कुमार की ही नगर स्वास्थ्य अधिकारी पद पर वापसी हो रही है। इसी बीच अब सीएमओ डॉ. महावीर सिंह फौजदार ने तबादला आदेश के एक माह बाद भी पीएचसी पीनना पर अपनी योगदान आख्या प्रस्तुत नहीं करने और विभाग से गायब रहने पर डॉ. अतुल कुमार के आचरण को लेकर कड़ी नाराजगी व्यक्त की है। इसके लिए उन्होंने डॉ. अतुल को पत्र भेजा है और इसमें आरोप लगाया कि एक अक्टूबर को तबादला होने के बाद भी डॉ. अतुल द्वारा अपने विभागीय उच्चाधिकारी के आदेशों का अनुपालन नहीं किया गया है, यह आचरण उत्तर प्रदेश सरकारी सेवक आचरण नियमावली 1956 के विपरीत है। उन्होंने डॉ. अतुल को तत्काल प्रभाव से अपने मूल तैनाती स्थल पीएचसी पीनना पर योगदान करने के निर्देश देते हुए कहा कि ऐसा नहीं करने पर उनका वेतन विभाग से जारी नहीं किया जायेगा और उनके खिलाफ अनुशासनात्मक कार्यवाही की संस्तुति के साथ रिपोर्ट शासन को भेज दी जायेगी।