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दशलक्षण महापर्व के सातवें दिन सकल जैन समाज ने उत्तम तप धर्म की पूजा की

दशलक्षण महापर्व के सातवें दिन सकल जैन समाज ने उत्तम तप धर्म की पूजा की
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मुजफ्फरनगर। भाद्रमाह शुक्ल में सकल जैन समाज ने दशलक्षण पर्व के सातवें दिन शनिवार को श्री दिगम्बर जैन मंदिर अतिशय क्षेत्र वहलना के साथ शहर के सभी जैन मंदिरों में उत्तम तप धर्म की पूजा अर्चना की और अपने आत्म कल्याण के लिए जैन मंदिरों श्री जी के सम्मुख विधान करके सम्पूर्ण देश में सुख, शांति, संपन्नता की मंगल कामना की। जैन दर्शन में अगर उत्तम तप पर प्रकाश डाले तो उत्तम तप का अर्थ है।


उत्तम तप नीरवांछित पाले, सो नर कर्मशत्रु को टाले। अर्थात शास्त्रों में वर्णित बारह प्रकार के तप से जो मानव अपने तन मन जीवन को परिमार्जन या शु( करता है, उसके समस्त जन्मों जन्मों के कर्म नष्ट हो जाते हैं। यदि पापों से मुक्ति पानी है तो जीवन में तप को स्थान दो, क्योंकि तप से ही कर्माे की निर्जरा हो सकती है। इसलिए मानव जीवन में तप करना अति आवश्यक है, तभी हम परमात्मा को पा सकते है। शहर के महावीर चौक जैन मंदिर में भी विशेष पूजा अर्चना की गई जिसमे दिनेश जैन, विकास जैन, रेशू जैन, मनिक जैन, राहुल जैन, नितिन जैन आदि ने बहुत ही भक्ति भाव के साथ पूजा की। शहर के प्रेमपुरी, जैन नगर, अबूपुरा, पारसनाथ, नई मंडी चौड़ी गली, मुनीम कॉलोनी, जैन मिलन विहार, सुरेंद्र नगर, अंबा विहार, रेनबो विहार सहित सभी जैन मंदिरों में भी उत्तम तप धर्म की पूजा की गई। श्री दिगम्बर जैन मंदिर अतिशय क्षेत्र वहलना में रोहित जैन उर्फ अप्पू, विप्लव जैन, वैभव जैन, आशीष जैन, चंद्र जैन, विपिन जैन, अभिषेक जैन, मनीष जैन, विजय जैन, अमन जैन, अमित जैन, शशांक जैन, अभिनव जैन, सुबोध जैन, आशीष जैन, दिनेश जैन, गौरव जैन, विजय जैन इवान हॉस्पिटल, सतीश जैन के साथ काफी संख्या में भक्त मौजूद रहे।

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