undefined

मुस्लिम वोटरों का ध्रुवीकरण मेरी हार का कारणः संजीव बालियान

हिन्दुओं का जातिगत आधार पर बिखराव और कम वोट प्रतिशत ने बदला मुजफ्फरनगर लोकसभा चुनाव में परिणाम, पूर्व केन्द्रीय मंत्री बोले-जनता के वोट से दस साल बाद जिले में लौटा परिवारवाद की घातक राजनीति का दौर, अपराधीकरण नहीं होने देंगे

मुस्लिम वोटरों का ध्रुवीकरण मेरी हार का कारणः संजीव बालियान
X

मुजफ्फरनगर। पूर्व केन्द्रीय मंत्री डॉ. संजीव बालियान ने मुजफ्फरनगर लोकसभा सीट से लगातार दो जीत के बाद तीसरे चुनाव में सपा प्रत्याशी हरेन्द्र मलिक के सामने मिली हार को लेकर चार प्रमुख कारण बताये। उन्होंने पार्टी में उनके खिलाफ गोलबंदी से भी इंकार नहीं किया। साफ कहा कि उनकी हार का प्रमुख कारण मुस्लिम वोटरों का धु्रवीकरण और हिन्दु मतदाताओं में बिखराव रहा है। संजीव ने कहा कि उन्होंने 2014 में जीतकर इस जिले में परिवारवाद की राजनीतिक परम्परा को विराम दिया था, लेकिन जनता ने फिर से इस परम्परा को जीवित कर दिया है। इसके बाजवूद भी हम जिले में अपराधीकरण की पुरानी राजनीतिक परम्परा को जीवित नहीं होने देंगे।

सोमवार को मीडिया कर्मियों के साथ लोकसभा सीट मुजफ्फरनगर के चुनाव परिणामों को लेकर चर्चा करते हुए पूर्व केन्द्रीय मंत्री और भाजपा प्रत्याशी रहे डॉ. संजीव बालियान ने कहा कि इस बार का जनादेश उनके खिलाफ रहा है, लेकिन इसके बावजूद भी जनता ने उनको भरपूर प्यार दिया है। वो 24672 वोटों के छोटे अंतर से चुनाव हारे हैं। हार के कारणों का जवाब देते हुए उन्होंने कहा कि इसका मुख्य कारण मुस्लिम मतदाताओं का ध्रुवीकरण, जातिगत आधार पर हिन्दू वोटरों में बिखराव, मुस्लिम वोटरों का ज्यादा प्रतिशत में वोटिंग करना और लोकसभा क्षेत्र में कम मतदान रहा है। लेकिन वो इसके लिए जनता पर दोषारोपण नहीं करना चाहते हैं, ये हार उनकी हार है। इसी जनता ने दो बार उनको सांसद बनाने का काम किया। उन्होंने कहा कि दस साल में उनके द्वारा मुस्लिमों के लिए भी काम किया गया, लेकिन ये उनका दुर्भाग्य है कि वो दस साल के काम में भी मुस्लिम मतदाताओं का विश्वास जीतने में नाकाम रहे हैं।

संजीव बालियान ने कहा कि साल 2014 में जब वो चुनाव जीते तो यह जनादेश परिवारवाद की राजनीति के खिलाफ आया था। उस दौर में एक ही परिवार से सांसद, विधायक और जिला पंचायत अध्यक्ष थे। वो इस परिवारवाद की घातक राजनीति को यहां पर खत्म करने में सफल रहे, लेकिन दस साल के बाद जनता फिर से उसी ट्रेंड पर वापस लौटी और सपा प्रत्याशी को जिताकर समाज के लिए घातक साबित होने वाली परिवारवाद की राजनीतिक परम्परा को जीवित कर दिया, अब एक ही परिवार से सांसद और विधायक हैं। हमने दस साल में अपराध मुक्त वातावरण जनपद मुजफ्फरनगर को दिया है। कभी भी अपराधियों को राजनीतिक संरक्षण देने का काम नहीं किया गया। मैं विश्वास दिलाता हूं कि जनता और अपने समर्थकों के साथ मजबूती से खड़ा रहूंगा, किसी भी कीमत पर अब जनपद में अपराधीकरण नहीं होने दिया जायेगा।

व्यापारियों को न डरायें हरेन्द्र, याद रखें अभी मोदी-योगी की सरकार कायम

मुजफ्फरनगर। पूर्व केन्द्रीय मंत्री संजीव बालियान अपनी हार के बावजूद भी अपने विरोधियों को एक शेर-मेरा पानी उतरता देख किनारे पर घर मत बना लेना, मैं समन्दर हूं लौटकर जरूर आऊंगा, के साथ बड़ा संदेश देने का काम किया। उन्होंने कहा कि जीएसटी चोरी के नाम पर उद्यमियों और व्यापारियों को डराने का काम करने वाले सांसद हरेन्द्र मलिक ये भी याद रखें कि अभी केन्द्र में मोदी और प्रदेश में योगी की सरकारें सत्ता में कायम हैं। उनकी भी फैक्ट्री हैं और रही हैं, कहीं ऐसा न हो कि उनको भी जवाब मिलने लगे।

मुजफ्फरनगर के पूर्व सांसद संजीव बालियान ने कहा कि हरेन्द्र मलिक ने उनके सामने नकारात्मकता को लेकर चुनाव लड़ा, मैं उनसे आग्रह करता हू ंकि वो नकारात्मकता से निकलकर अब सकारात्मक राजनीति करें। मेरी आलोचना करने के बजाये जिले के विकास के लिए कदम बढ़ाये। मैं इस कार्य में दिल्ली से लखनऊ तक उनका सहयोग बनकर काम करने के लिए तैयार हूं। उनको हर मदद करूंगा, उनको हर जानकारी उपलब्ध कराऊंगा। एक सवाल के जवाब में उन्होंने कहा कि सपा सांसद हरेन्द्र मलिक जिले के उद्यमियों और व्यापारियों को डराने का काम न करें। वो सांसद हैं, उनकी एक चिट्ठी बड़ा काम कर सकती हैं, लेकिन उनको याद रखना चाहिए कि अभी मोदी और योगी की सरकारें कायम हैं। वो भी उद्योग पति रहे हैं, उनकी भी फैक्ट्रियां थीं और हैं, ऐसे में उनको नकारात्मक बयानबाजी से बाज आना चाहिए।

Next Story