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PALIKA-टैण्डर खुले नहीं, मच गया पूल का शोर

नगरपालिका परिषद् में अगले सप्ताह दो हिस्सों में खुलने हैं 202 निर्माण कार्यों के टैण्डर, सभासदों की शिकायत पर उठे सवाल

PALIKA-टैण्डर खुले नहीं, मच गया पूल का शोर
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मुजफ्फरनगर। नगरपालिका परिषद् के द्वारा शहरी क्षेत्र में प्रस्तावित निर्माण कार्यों के टैण्डर अभी पाइपलाइन में ही हैं, लेकिन उनके खुलने से पहले ही कुछ सभासदों ने पूल और अनियमितता होने के आरोप लगाते हुए भारी शोर मचा दिया है। डीएम से की गई उनकी शिकायत भी खुद सवालों के घेरे में आ गई है, क्योंकि जब किसी भी निर्माण कार्य का टैण्डर खुला ही नहीं तो उनको पूल होने की जानकारी किस आधार पर मिल गई है। जिन कामों के टैण्डर में पूल और अनियमितता होने की बात कर जांच की मांग की जा रही है, उनके टैण्डर अभी एक सप्ताह बाद खोले जाने की तैयारी है।

बता दें कि नगरपालिका परिषद् की चेयरपर्सन मीनाक्षी स्वरूप के द्वारा शहर के सभी 55 वार्डों में सड़क और नाली आदि निर्माण के लिए हरी झण्डी दी गई। निर्माण विभाग ने प्रस्ताव बनाये और बोर्ड ने उनको स्वीकृति प्रदान कर दी। ऐसे करीब 202 निर्माण कार्यों के टैण्डर पाइपलाइन में हैं। इन कार्यों के टैण्डरों में मिलीभगत से पूल होने और अन्य अनियमितताओं का आरोप लगाते हुए गत दिवस सभासद योगेश मित्तल, देवेश कौशिक आदि ने डीएम से शिकायत करते हुए जांच की मांग की थी। योगेश मित्तल का कहना था कि कुछ सभासदों ने अपने चहेते ठेकेदारों को काम दिलाने के लिए पूल कराते हुए पालिका को राजस्व हानि पहुंचाने का काम किया है।

योगेश मित्तल और उनके साथी सभासदों की शिकायत पर पालिका में हलचल मची है। इसी पड़ताल करने पर पता चला कि जिन कार्यों में पूल होने का दावा किया गया है, दरअसल अभी उनके टैण्डर खुले ही नहीं है। पालिका के एई निर्माण अखंड प्रताप सिंह ने बताया कि करीब 202 निर्माण कार्यों के टैण्डर प्रक्रियागत हैं। उनको जानकारी मिली है कि कुछ सभासदों ने इसमें पूल होने की शिकायत डीएम से कर जांच की मांग की है। जबकि हकीकत ये है कि जब टैण्डर खुले ही नहीं, तो पूल होने की बात भी कैसे की जा सकती है। उन्होंने बताया कि करीब एक सप्ताह बाद इन टैण्डरों को अलग अलग स्लॉट में खोलने की तैयारी निर्माण विभाग ने की है। इसके बाद ही टैण्डर में ठेकेदार फर्मों के द्वारा स्टीमेट के आधार पर दिए गये रेट यदि सभी 202 कार्यों में लगभग एक समान प्रतिशत पर पाये जाते हैं तो पूल माना जायेगा। बताया कि किसी भी कार्य के लिए तीन से कम टैण्डर स्वीकार नहीं होंगे। ऐसे में किसी किसी कार्य में चार, पांच और आठ तक टैण्डर आये हैं। जो प्रतिस्पर्धा को दर्शाता है।

उन्होंने इन कार्यों में पूल जैसी संभावना से फिलहाल इंकार करते हुए कहा कि टैण्डर खुलने के बाद ही सही स्थिति सामने आ जायेगी। पालिका चेयरपर्सन मीनाक्षी स्वरूप ने कहा कि पालिका में भ्रष्टाचार के प्रति हमारी नीति जीरो टोलरेंस की है। निर्माण कार्यों के टैण्डर अभी हुए नहीं हैं, होने बाकी हैं। पूरी प्रक्रिया पारदर्शी है और प्रतिस्पर्धी है, किसी ने पूल का प्रयास किया भी है तो अभी किसी को कार्य स्वीकृत नहीं किया गया है, ऐसे में अनियमितता होने का सवाल नहीं है। हमारी पूरी निगरानी बनी है। हम ये भी अपील करते हैं कि जनता के बीच किसी भी प्रकार का भ्रामक प्रचार कर पालिका की छवि को धूमिल करने से बचना चाहिए। सभी लोग पालिका परिवार के रूप में एकजुट रहकर शहर के विकास में सकारात्मक योगदान प्रदान करें।

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