डीएम एसएसपी ने दबाव दियाः रिपोर्ट मत कराओ

मनीष ने पुलिस द्वारा पैसा छीनने का जब विरोध किया तो उन्हें पीटा गया है । बाद में इसे मात्र दुर्घटना साबित करने का प्रयास किया गया। पोस्टमार्टम में भी मनचाही रिपोर्ट बनवाने के लिए भी डॉक्टरों पर दबाव डाला गया।

Update: 2021-09-30 06:27 GMT

गोरखपुर। मनीष गुप्ता हत्याकांड में जो नए तथ्य प्रकाश में आए हैं, उसके अनुसार गोरखपुर के जिलाधिकारी और एसएसपी ने पहुंचकर मनीष के परिवार व पत्नी पर मनचाही रिपोर्ट दर्ज करवाने के लिए दबाव बनाने का प्रयास किया ।

बताया गया है कि गोरखपुर में एक बड़ा होटल माफिया कार्यरत है । गोरखपुर में लगभग एक दर्जन ऐसे होटल हैं, जहां बड़े व्यापारी ठहरते हैं और तगादा आदि की वसूली में यदि किसी व्यापारी के पास 10 व 15 लाख की नगदी होती है तो होटल कर्मचारी संबंधित थाने को इसकी सूचना दे देते हैं। पुलिस वाले तलाशी के बहाने व्यापारी के कमरे में घुसते हैं और यह कहते हुए यह नंबर दो कि रकम है। हिस्सेदारी व लूटपाट कर लेते हैं। इसमें होटल कर्मियों का भी कमीशन रहता है। मनीष गुप्ता के मामले में भी यही हुआ है। बदमाश की तलाशी के नाम पर केवल मनीष के कमरे में ही पुलिस वाले गए थे,किसी दूसरे कमरे की न तो उन्होंने तलाशी ली है और न ही वहां छानबीन की। इस तरह की अनेक घटना पहले भी हो चुकी हैं । मनीष ने पुलिस द्वारा पैसा छीनने का जब विरोध किया तो उन्हें पीटा गया है । बाद में इसे मात्र दुर्घटना साबित करने का प्रयास किया गया। पोस्टमार्टम में भी मनचाही रिपोर्ट बनवाने के लिए भी डॉक्टरों पर दबाव डाला गया। होटल में भी गोरखपुर के जिलाधिकारी और एसएसपी ने पहुंचकर मनीष के परिवार व पत्नी पर मनचाही रिपोर्ट दर्ज करवाने के लिए दबाव बनाने का प्रयास किया है। जिसका वीडियो भी वायरल हुआ है। ऐसे में पुलिस के कारनामों का सहज अंदाजा लगाया जा सकता है।  

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