नकली शराब की बिक्री रोकने के लिए हर बोतल की होगी स्कैनिंग

दूसरे प्रदेश के बाॅटलर उत्तर प्रदेश आकर डिस्टलरी किराये पर लेकर शराब भी बना सकेंगे।

Update: 2020-09-23 10:23 GMT

लखनऊ। उत्तर प्रदेश में आबकारी विभाग ने नकली शराब की बिक्री रोकने के लिए विशेष नियम बनाये हैं। अब शराब की हर दुकान में बोतल स्कैन होगी। इससे सुरा प्रेमियों को असली शराब मिल सकेगी।

सूत्रों के अनुसार प्रदेश में 25 हजार से अधिक मदिरा की दुकानें हैं। नई व्यवस्था के तहत हर दुकान में इलेक्ट्राॅनिक स्कैनिंग उपकरण से शराब की बोतल स्कैन करके बेची जाएंगी। इससे अब मिलावटी शराब की बिक्री पर रोक लगाई जा सकेगी। मंगलवार देर शाम कैबिनेट बाई सर्कुलेशन आबकारी विभाग के चार प्रस्तावों को मंजूरी दी गई। आबकारी आयुक्त पी गुरुप्रसाद ने यह जानकारी देते हुए बताया कि लाॅकडाउन व उसके बाद कंटेनमेंट जोन की जो देशी शराब की दुकानें उठान पूरा नहीं कर पाई है, उन्हें छूट दी गई है। इसी तरह से जुलाई से सितंबर तक बीयर की उठान को लेकर छूट दी गई है। लेकिन, विदेशी शराब के उठान का लक्ष्य दिसंबर तक पूरा करना होगा। इसमें कोई अतिरिक्त छूट नहीं है। प्रदेश में 582 दुकानें ऐसी हैं जो लाॅकडाउन के कारण लाॅटरी निकालने के बाद भी नहीं उठ सकी हैं। उन्हें इस साल खत्म कर दिया गया है। अब अगले वित्तीय वर्ष में उनकी नीलामी होगी।

अभी तक दूसरे प्रदेश के बाॅटलर उत्तर प्रदेश आकर शराब नहीं बना सकते थे। उन्हें सिर्फ बोतल में शराब भरने की अनुमति दी गई थी। लेकिन, अब वे यहां आकर डिस्टलरी किराये पर लेकर शराब भी बना सकेंगे। ये बड़ा बदलाव हुआ है। साथ ही अब एक डिस्टलरी के लोग दूसरी डिस्टलरी में भी देशी शराब बनाने की छूट पा सकेंगे।

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