मुजफ्फरनगर। जिला अस्पताल में भ्रष्टाचार और रिश्वतखोरी का गंभीर मामला सामने आया है। लाडवा गांव की रहने वाली एक महिला ने आरोप लगाया है कि उसके बेटे के घुटने का ऑपरेशन करने के नाम पर डॉक्टर ने 16,000 रुपये की रिश्वत मांगी। महिला की शिकायत पर समाजसेवी व अधिवक्ता मनेश गुप्ता महिला के साथ जिला अस्पताल की ओपीडी के बाहर धरने पर बैठ गए।
पीड़िता कुंती देवी ने मीडिया को बताया कि उसके बेटे के घुटने में चोट लगी थी। इलाज के लिए वह जिला अस्पताल पहुंचीं, जहां डॉक्टर ने ऑपरेशन की सलाह दी। डॉक्टर ने यह भी कहा कि छुट्टी के कारण ऑपरेशन सोमवार को किया जाएगा, लेकिन जब वह सोमवार को ऑपरेशन के लिए पहुंचीं, तो डॉक्टर ने 16,000 रुपये की रिश्वत मांगते हुए कहा कि बिना पैसे ऑपरेशन नहीं किया जाएगा।
मनेश गुप्ता ने बताया कि उन्हें पीड़िता का फोन आया और पूरी जानकारी दी गई। उन्होंने कहा कि जब उन्होंने डॉक्टर से पैसे मांगने की वजह पूछी, तो डॉक्टर ने उन्हें भी धमकी दी और अभद्र व्यवहार किया। गुप्ता ने बताया कि कमरा नंबर 9 में बैठे डॉक्टर और खून की जांच करने वाले कर्मचारी पर रिश्वतखोरी का आरोप है। उन्होंने आरोप लगाया कि ये लोग खुलेआम कहते हैं कि चाहो तो सीएमएस से शिकायत कर दो, बिना पैसे कोई काम नहीं होगा। इसके बाद मनेश गुप्ता महिला के साथ जिला अस्पताल के ओपीडी विभाग में ही धरने पर बैठ गये। इस घटना को लेकर अस्पताल प्रशासन की कार्यप्रणाली पर सवाल खड़े हो रहे हैं। मनेश गुप्ता ने स्वास्थ्य विभाग और जिला प्रशासन से इस पूरे मामले की जांच कराने और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की मांग की है। इस मामले में सीएमएस से बात करने का प्रयास किया गया, लेकिन उनका फोन नहीं लग पाया।






