कोरोना से महिला की मौत, मेडिकल काॅलेज में हंगामा

25 वर्षीय गर्भवती महिला को तीन दिन पूर्व कोरोना पाजिटिव पाये जाने पर डिलीवरी केे लिए कोविड हास्पिटल बेगराजपुर में भर्ती कराया गया था। बच्चे को दो दिन पूर्व जन्म दिया और बीती रात अचानक महिला की मौत हो गई। चिकित्सक इसे कार्डियक अरेस्ट बता रहे हैं।

Update: 2020-09-19 06:36 GMT

मुजफ्फरनगर। कोरोना वायरस के संक्रमण के चलते एक महिला की कोविड हास्पिटल में मौत हो गई। इस महिला को डिलीवरी के लिए कोविड हास्पिटल में भर्ती कराया गया था, जहां पर दो दिन पूर्व महिला की सिजेरियन डिलीवरी हुई और उसने स्वस्थ बच्चे को जन्म दिया। उपचार के दौरान बीती रात महिला ने कोविड हास्पिटल में दम तोड़ दिया। परिजनों ने चिकित्सकों पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए मेडिकल काॅलेज बेगराजपुर पर हंगामा किया। परिवार की महिला और पुरुष मेडिकल कालेज के गेट पर हंगामा और विलाप करते रहे। मौके पर पहुंची पुलिस फोर्स ने उनको वहां से हटाया और सवेरे कोविड गाइडलाइन के नियमों के अनुसार महिला का शव परिजनों को सौंप दिया गया। रोते बिलखते परिजन शव लेकर घर आ गये।


प्राप्त जानकारी के अनुसार शहर के मौहल्ला जसवंतपुरी निवासी एक 25 वर्षीय गर्भवती महिला को तीन दिन पूर्व परिजन डिलीवरी कराने के लिए जिला महिला अस्पताल लेकर गये थे। वहां पर डिलीवरी के लिए महिला को भर्ती कर लिया गया था। डिलीवरी से पूर्व कराई गई कोविड-19 की जांच में महिला पाजिटिव पायी गयी। इसके बाद इस गर्भवती महिला को अस्पताल से डिलीवरी के लिए कोविड-19 एल-1 हास्पिटल मुजफ्फरनगर मेडिकल काॅलेज बेगराजपुर में भेज दिया गया था। वहां पर दो दिन पूर्व महिला को सिजेरियन डिलीवरी कराई गई। तभी से यह महिला वहां पर कोविड वार्ड में भर्ती थी।


महिला को चिकित्सीय निगरानी में रखा गया था। देर रात इस महिला ने उपचार के दौरान ही दम तोड़ दिया। परिजनों को देर रात करीब डेढ़ बजे इसकी सूचना फोन पर दी गयी। परिजनों ने रात्रि में ही वहां पर पहुंचकर हंगामा किया। उनका कहना है कि रात 11 बजे उनकी महिला से बात हुई थी, तब उसने ठीक-ठाक बात की थी। परिजन भी संतुष्ट थे, लेकिन अचानक रात्रि डेढ़ बजे अस्पताल से फोन आया और बताया गया कि महिला की मौत हो चुकी है। मौत कैसे हुई इसके बारे में कोई भी जानकारी नहीं दी गयी। महिला के परिजनों ने अस्पताल के चिकित्सकों पर गंभीर लापरवाही बरतने का आरोप लगाते हुए गेट पर ही हंगामा किया। उन्होंने इस मामले में जांच की मांग की। परिजनों का कहना है कि अस्पताल के किसी भी वरिष्ठ चिकित्सक ने उनसे बात तक भी नहीं की। सवेरे उनको महिला की डेड बाॅडी सौंप दी गयी। महिला की बाॅडी को पालिथिन में पैक किया गया था। परिजन महिला की बाॅडी को एम्बुलेंस में लेकर घर आ गये।

वहीं मुजफ्फरनगर मेडिकल काॅलेज बेगराजपुर के सीएमएस डा. कीर्ति गोस्वामी से जब महिला की मौत के बारे में पूछा गया तो उन्होंने कुछ भी बताने से इंकार कर दिया। हास्पिटल सूत्रों के अनुसार महिला को 24 घंटे चिकित्सीय निगरानी में रखा गया था। कोरोना पाजिटिव होने के कारण उसकी स्थिति पहले से ही संवेदनशील थी। उपचार के दौरान महिला की आक्सीजन और ब्लड प्रेशर नार्मल बताया गया। अस्पताल प्रशासन का कहना है कि देर रात अचानक ही महिला की हालत बिगड़ गयी थी। महिला की मौत का कारण कार्डियक अरेस्ट बताया जा रहा है। जबकि परिजन उपचार में लापरवाही बरतने का आरोप लगा रहे है।


महिला की मौत होने से परिवार में कोहराम की स्थिति है। परिजनों ने डीएम से भी इस मामले में जांच कराने की मांग की है। वहीं अस्पताल के एक चिकित्सक ने बताया कि कोरोना पाजिटिव मरीजों में हार्ट अटैक या हार्ट फेलियर की संभावना प्रबल हो जाती है। महिला का सिजेरियन डिलीवर होना भी उसको और संवेदनशील बनाने वाला साबित हुआ और कोरोना वायरस संक्रमण के कारण महिला कार्डियक अरेस्ट में चली गयी। उनका कहना है कि महिला को अंतिम सांस तक बचाने का प्रयास किया गया, परिजनों के आरोप बेबुनियाद हैं।

परिजनों के हंगामा के कारण मेडिकल काॅलेज पर भारी पुलिस बल तैनात कर दिया गया था। पुलिस अफसरों ने हंगामा करते परिजनों को समझा-बुझाकर चिकित्सकों से बात कराई और जिला चिकित्सालय के शव वाहन में महिला की डेेड बाॅडी उनके सुपुर्द कर दी। 

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