शिया हजरात ने एकजुट होकर सुरेश चव्हाण पर शांति भंग करने और धार्मिक वैमनस्य फैलाने के गंभीर आरोप लगाते हुए रोष प्रकट किया
मुजफ्फरनगर। धार्मिक आस्थाओं का अपमान कर समाज में तनाव फैलाने वाले बयान के खिलाफ शुक्रवार को शहर में शिया समाज का गुस्सा फूट पड़ा। बड़ी संख्या में लोग जुमा की नमाज के बाद जिलाधिकारी और वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक के कार्यालय पहुंचे, जहां शांतिपूर्ण प्रदर्शन करते हुए सुदर्शन न्यूज़ चैनल के चेयरमैन एवं एडिटर इन चीफ सुरेश चव्हाण के खिलाफ कठोर कार्रवाई और एफआईआर दर्ज करने की मांग की गई। प्रदर्शनकारियों ने भारी आक्रोश व्यक्त करते हुए पुलिस प्रशासन को चेतावनी दी कि यदि समय रहते कार्रवाई नहीं की गई, तो आंदोलन को और तेज किया जाएगा।
शुक्रवार को जुमा की नमाज अदा करने के बाद शिया समाज के सैंकड़ों लोग जुलूस के रूप में कलेक्ट्रेट और पुलिस कार्यालय पहुंचे। एसएसपी कार्यालय पर मोहल्ला किदवईनगर निवासी अली जैदी पुत्र परवेज जैदी ने प्रदर्शन के बाद समाज के लोगों के साथ एसएसपी संजय वर्मा के नाम दिए अपने प्रार्थना पत्र में बताया कि करबला (इराक) में हजरत मोहम्मद साहब के नवासे हजरत इमाम हुसैन और उनके साथियों की शहादत की याद में देशभर का शिया समाज सदियों से मोहर्रम के जुलूस निकालकर उन्हें श्रद्धांजलि देता आ रहा है। आरोप है कि 30 अगस्त 2025 को प्रसारित टीवी शो ‘बिंदास बोल में सुरेश चव्हाण ने दिल्ली के मुस्तफाबाद में निकाले गए मोहर्रम के जुलूस में शामिल घोड़े और ऊंट की पवित्र सवारी को अपमानजनक शब्दों में ‘जानवरों का इस्लामिकरण, ‘घोड़ी को बुर्का और ‘ऊंटनी को हिजाब कहकर मज़ाक उड़ाया। इससे न केवल शिया समाज बल्कि अमनपसंद लोगों की धार्मिक भावनाओं को भी गहरी ठेस पहुँची है।
वहीं दूसरी ओर अन्जुमन दुआ-ए-ज़ेहरा के सचिव एवं प्रवक्ता रौनक जैदी (शाज़ी) ने बताया कि मौलाना अरशद काज़मी, मौलाना बाकर काज़मी और मौलाना मौहम्मद हुसैनी की सरपरस्ती में अली जैदी की निगरानी में प्रदर्शन के बाद एक ज्ञापन डीएम उमेश मिश्रा और एसएसपी को सौंपा गया। प्रदर्शन में शहर के प्रमुख शिया हजरात ने एकजुट होकर सुरेश चव्हाण पर दंगा भड़काने, शांति भंग करने और धार्मिक वैमनस्य फैलाने के गंभीर आरोप लगाते हुए रोष प्रकट किया। ज्ञापन में कहा गया कि ऐसे तत्वों के खिलाफ सख्त कानूनी कार्रवाई करके समाज में सद्भाव बनाए रखा जा सकता है। प्रदर्शन में मुख्य रूप से साजीद, सलीस, हुसैन, हसन नवाज, जमाल मिजा, अच्छू नेता, शबाब जैदी, मनव्वर, अजहर, जफर अली आरफी, नदीम एडवोकेट, लारेब जैदी, रजब अली मिर्जा, नदीम जैदी, इरम जैदी, शहजाद जैदी, हसन रजा, नबी हैदर, वारिस आरफी सहित शिया समाज के प्रमुख हजरात शामिल रहे।